ऋषियों की वाणी

"ऋषियों की वाणी" महान महाकाव्य "देवायण” और "देवायण की झलक" का सहायक खंड है जो पहले ही अंग्रेजी और हिंदी भाषा में प्रकाशित हो चुके हैं। भारत के प्राचीन शास्त्रों, वेदों और उपनिषदों आदि से लिए गए मंत्रों के इस व्यापक संकलन को यहाँ सरलता और सुंदरता से वर्णित किया गया है। ये मंत्र देवायण में उल्लेखित कई घटनाओं के बारे में बताते हैं और साबित करते हैं कि ये काल्पनिक नहीं, बल्कि हमारे वेदों, उपनिषदों और महाकाव्यों में युगों से मौजूद हैं। आने वाला स्वर्ण युग कई कल्पों पहले वैदिक ऋषियों के द्वारा हमें दिया गया वचन है।

ऋषियों का दृष्टिकोण हमें सार्थक प्रकटीकरण और व्याख्या प्रदान करता है। यह हमें हमारे धर्म ग्रंथों के स्वीकृत दृष्टिकोण के लिए विचारोत्तेजक चुनौती देता है। डॉ. हजारी ने संवेदनशीलता और सूक्ष्मता के साथ इन मंत्रों का वर्णन किया है। यह पुस्तक उन लोगों को जरूर पढ़नी चाहिए जो मंत्रों में नया दृष्टिकोण खोजने में रूचि रखते हैं जो हमारे दैनिक जीवन का हिस्सा हैं।

स्वर्ण युग के आगमन के लिए हमें तैयार करने में सहायता करने के लिए आवश्यक मंत्रों के जप के साथ "स्वर्ण युग में आपका स्वागत है" ऑडियो सीडी www.devayan.net से डाउनलोड की जा सकती है।  

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Mr. Suman Pathak,

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Amita Nathwani

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